राकेश ओमप्रकाश मेहरा ने मिलखा सिंह पर भाग मिल्खा भाग नामक फिल्म बनाई थी

आज का इतिहास

अतुल श्रीवास्तव

 

18 जून ग्रेगोरी कैलंडर के अनुसार साल का 171वां दिन है। साल में अभी 196 दिन और बाकी हैं।

आज 18 जून है। आज ही 1852 में प्रसिद्ध राजनीतिज्ञ और दक्षिण भारत का शेर कहे जाने वाले चक्रवर्ती विजयराघवाचार्य का मद्रास प्रेसिडेंसी के हैदराबाद राज्य के चेंगलपट्टू के पोन विलायंधा कलाथुर में अयंगर ब्राह्मण परिवार में जन्म हुआ था। सलेम (अब तमिलनाडु ) में हिन्दू मुस्लिम दंगा भडक़ाने का आरोप लगने और जिसके खिलाफ अपील के बाद प्रसिद्धि में आए चक्रवर्ती विजयराघवाचार्य ने अपनी बेगुनाही साबित करने कानूनी लडा़ई लडी़ थी और अंतत: जीत हासिल की थी।

सलेम नगर परिषद के सदस्य के रूप में 1882 में राजनीति में प्रवेश करने वाले चक्रवर्ती विजयराघवाचार्य एओ ह्यूम की दोस्ती के चलते कांग्रेस के पहले सत्र में आमंत्रित किए गए। 

कांग्रेस में शामिल होने के बाद 1920 में इसके अध्यक्ष बने चक्रवर्ती विजयराघवाचार्य ने कांग्रेस की प्रचार समिति में रहते हुए पार्टी की विचारधाराओं को जन-जन तक पहुंचाने का कार्य किया। 1931 में हिन्दू राष्ट्रवादी पार्टी हिन्दू महासभा के अध्यक्ष के रूप में भी कार्य करने वाले चक्रवर्ती विजयराघवाचार्य ने एक वकील रहते भी उल्लेखनीय कार्य किए। महिलाओं के लिए यौवन के बाद विवाह और बेटी को अपने पिता की सम्पत्ति में हिस्सा पाने के अधिकार की वकालत करने वाले चक्रवर्ती विजयराघवाचार्य की 19 अप्रैल 1944 को मृत्यु हुई। 

आज ही 1861 को हिन्दी के प्रसिद्ध लेखक देवकीनन्दन खत्री का मौजूदा बिहार के समस्तीपुर के मालीनगर में लाला ईश्वरदास के घर जन्म हुआ था। उर्दू और फारसी में प्रारम्भिक शिक्षा ग्रहण करने के बाद हिन्दी, संस्कृत और अंग्रेजी का अध्ययन करने वाले देवकीनन्दन खत्री हिन्दी के प्रथम तिलिस्मी लेखक थे और उन्होंने चंद्रकांता, चंद्रकांता संतति, काजर की कोठरी, नरेन्द्र-मोहिनी, कुसुम कुमारी, वीरेन्द्र वीर, गुप्त गोदना, कटोरा भर और भूतनाथ जैसी रचनाएं लिखी थीं। 

हिन्दी भाषा के प्रचार प्रसार में देवकीनन्दन खत्री के उपन्यास चंद्रकांता का बहुत बड़ा योगदान रहा है जबकि उनके उपन्यास भूतनाथ को उनके पुत्र दुर्गा प्रसाद खत्री ने पूरा किया। बाबू देवकीनन्दन खत्री ने तिलिस्म, ऐय्यार और ऐय्यारी जैसे शब्दों को हिन्दीभाषियों के बीच लोकप्रिय बनाया और जितने हिन्दी पाठक उन्होंने उत्पन्न किए उतने किसी और ग्रंथकार ने नहीं।

मौजूदा बिहार के गया के टेकारी इस्टेट में वहां के राजा के यहाँ नौकरी करने के बाद वाराणसी में प्रिटिंग प्रेस स्थापित कर मासिक पत्रिका का प्रकाशन करने वाले देवकीनन्दन खत्री की 1 अगस्त 1913 को मृत्यु हुई। आज ही 2021 को प्रसिद्ध भारतीय धावक और 1964 में टोक्यो में ग्रीष्म ओलंपिक में हिस्सा लेने वाले उडऩ सिख के नाम से प्रसिद्ध हुए मिल्खा सिंह का चंडीगढ़ में निधन हुआ था। 

भारत सरकार द्वारा पद्मश्री पुरस्कार सहित कई पुरस्कारों से सम्मानित मिलखा सिंह ने भारतीय सेना में भी सेवा दी थी। राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कई पदक जीतने वाले मिलखा सिंह का 20 नवम्बर 1929 को पंजाब के गोविंदपुर में जन्म हुआ था। यह पंजाब और गोविंदपुर अब पाकिस्तान में है।

भारत के विभाजन के बाद की अफरातफरी में अपने माता पिता को खो चुके मिलखा सिंह शरणार्थी बनकर ट्रेन से पाकिस्तान से भारत आ गए और काफी प्रयासों के बाद भारतीय सेना में शामिल हो सके। सेना में रहते हुए मिलखा सिंह ने दौड़ का अभ्यास किया और कई प्रतियोगिताओं में हिस्सा लिया। 2013 में फिल्म निर्माता, निर्देशक और लेखक राकेश ओमप्रकाश मेहरा ने मिलखा सिंह पर भाग मिल्खा भाग नामक फिल्म बनाई थी जो खूब प्रसिद्ध हुई। 

आज ही 1946 में राम मनोहर लोहिया, एक समाजवादी, ने गोवा में पुर्तगालियों के खिलाफ प्रत्यक्ष कार्रवाई दिवस का आह्वान किया। आज ही अंतरराष्ट्रीय पिकनिक दिवस, गोवा क्रान्ति दिवस, घृणास्पद भाषण का मुकाबला करने के लिए अंतरराष्ट्रीय दिवस, सस्टेनेबल गैस्ट्रोनॉमी डे मनाया जाता है।

आज ही 1852 में राजनीतिज्ञ चक्रवर्ती विजयराघवाचार्य, 1852 को राजनीतिज्ञ  सी. विजय राघवा चारियर, 1861 में लेखक देवकी नंदन खत्री, 1887 को राजनीतिज्ञ अनुग्रह नारायण सिन्हा, 1899 को स्वतंत्रता सेनानी और गांधीवादी चिंतक दादा धर्माधिकारी, 1921 को राजनीतिज्ञ  पी. वेंकटसुब्बैया, 1931 को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के पांचवें सरसंघचालक  के एस सुदर्शन, 1958 को नौकायान खिलाडी़ होमी डैडी मोतीवाला, 1992 को राजनीतिज्ञ गोड्डेति माधवी का जन्म हुआ।

आज ही 1974 को राजनीतिज्ञ सेठ गोविन्द दास, 1993 को स्वतन्त्रता सेनानी और चिकित्सक युधवीर सिंह, 2002 को अभिनेत्री नसीम बानो, 2009 को संगीतकार और शास्त्रीय गायक अली अकबर ख़ाँ, 2021 को भारतीय धावक मिलखा सिंह का निधन हुआ।

आज ही 1053 में हाउटविले के हम्फ्रे ने पोप लियो नाइन और -होली रोमन साम्राज्य की संयुक्त सेना के खिलाफ बीटल ऑफ सिविटेट में नॉर्मन्स की सेनाओं का नेतृत्व किया। 1429 में जोन ऑफ आर्क के नेतृत्व में फ्रांसीसी सेनाओं ने पटे की लड़ाई में सर जॉन फास्टोल्फ के तहत मुख्य अंग्रेजी सेना को हराया। 1802 में जीए लांग को वियतनाम में गुयेन वंश के पहले सम्राट के रूप में ताज पहनाया गया।

1812 में संयुक्त राज्य अमेरिका, कनाडा और यूनाइटेड किंगडम के बीच 1812 का युद्ध शुरू हुआ। 1815 में नेपोलियन के युद्ध में वाटरलू की लड़ाई के परिणामस्वरूप ड्यूक ऑफ वेलिंगटन और गेबहार्ड लेब्रेच वॉन ब्लुचर द्वारा नेपोलियन बोनापार्ट की हार के कारण उन्हें दूसरी और आखिरी बार फ्रांस के सिंहासन को छोडऩे के लिए मजबूर होना पड़ा।

1837 में स्पेन ने नया संविधान अपनाया। 1842 में एक प्राथमिक स्कूल प्रणाली स्वीडन में शुरू की गयी।  1858 में चार्ल्स डार्विन ने प्राकृतिक चयन पर साथी प्रकृतिवादी रसेल वालेस द्वारा एक पांडुलिपि प्राप्त की, जिससे डार्विन ने अपने विकास के सिद्धांत को पुन: प्रकाशित किया। 1887 में पुनर्बीमा संधि पर जर्मनी और रूस ने हस्ताक्षर किया।

1894 में सबसे पहले रोसेबेर्री युगांडा एक ब्रिटिश संरक्षण घोषित किया गया। 1897 में क्योटो विश्वविद्यालय ओफ्फिसिएल्लेमेंट जापान में स्थापित किया गया। 1908 में फिलीपींस विश्वविद्यालय, राष्ट्रीय विश्वविद्यालय  ऑफ दी फिलीपींस की स्थापना की गई।

1923 में चेकर टैक्सी सडक़ों पर अपनी पहली टैक्सी लगाई। 1941 में तुर्की ने नाजी जर्मनी के साथ शांति समझौते पर हस्ताक्षर किया। 1979 में संयुक्त राज्य अमेरिका और सोवियत संघ द्वारा साल्ट टू पर हस्ताक्षर किए गए। 1983 में अंतरिक्ष शटल कार्यक्रम हुआ जिसमें एसटीएस -7, अंतरिक्ष यात्री सैली राइड अंतरिक्ष में पहली अमेरिकी महिला बन गई।

सैली क्रिस्टन राइड एक अमेरिकी भौतिक विज्ञानी और अंतरिक्ष यात्री थे। लॉस एंजिल्स में जन्मी, वह 1978 में नासा में शामिल हुईं और 1983 में अंतरिक्ष में पहली अमेरिकी महिला बन गईं। वह 32 साल की उम्र में ऐसा करने वाली सबसे कम उम्र की अमेरिकी अंतरिक्ष यात्री बनी हैं।

2003 में गूगल ने इंटरनेट प्रोग्राम एडसेंस पेश किया। 2006 में पहला कज़ाख अंतरिक्ष उपग्रह, कज़सैट लॉन्च किया गया। 2009 में नासा के एक रोबोटिक अंतरिक्ष यान लूनर टोही (एलआरओ) को लॉन्च किया गया। एलआरओ मिशन नासा द्वारा चंद्रमा पर भविष्य के मानव और रोबोट मिशन के लिए एक अग्रदूत है।

इसके लिए एक विस्तृत मानचित्रण कार्यक्रम सुरक्षित लैंडिंग स्थलों की पहचान करेगा, चंद्रमा पर संभावित संसाधनों का पता लगाएगा, विकिरण पर्यावरण को चिह्नित करेगा, और नई तकनीक का प्रदर्शन करेगा। 2009 में नासा ने चंद्रमा पर दस वर्षों में अपना पहला मिशन लूनर टोही की कक्षा शुरू की।


इस दैनंदिनी इतिहास का संग्रहकर्ता नामी पत्रकार अतुल श्रीवास्तव हैं। जो पिछले कई दशकों से पत्रकारिता से जुड़े हुए हैं, बहरहाल सालों से बीमार चल रहे हैं और राजनांदगांव, छत्तीसगढ़ में निवासरत हैं। 


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